डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। श्रीनगर का एक फुटबॉल क्लब रियल कश्मीर, जहां खेल से अधिक लोकप्रिय बंदूक और पत्थर हैं, पिछले कुछ वर्षों से कश्मीरी युवाओं की ऊर्जा का इस्तेमाल करने में सफल रहा है। 2016 में अपनी यात्रा शुरू करने के बाद से रियल कश्मीर फुटबाल क्लब धीरे-धीरे मजबूत बन गया है। अपनी शुरुआत के दो साल के अंदर ही रियल कश्मीर की टीम भारतीय फुटबॉल शीर्ष डिविजन लीग-आई लीग में आ गई थी और वह अपने पहले साल में ही तीसरे नंबर पर रही थी। रियल कश्मीर के सह-मालिक संदीप चट्टू ने आईएएनएस से बातचीत में बताया कि किस तरह से क्लब ने कश्मीर के युवाओं की सोच बदली है।
चट्टू ने कहा, इसमें कोई दोराय नहीं है कि हमारे क्लब ने यहां की परिस्थिति और जीवन शैली को बदल दिया है। इस महामारी में फिलहाल हमारे पास अंतर जिला टूर्नामेंट है। मौजूदा समय में फुटबाल कश्मीर के जिलों में खेला जाता है। इसलिए जागरूकता और प्रतिभा यहां हमेशा से रही है। उन्होंने कहा, हमने अपनी आकादमी को मजबूत किया है। अब हमारे पास करीब 3000 से अधिक की क्षमता है। अब हमारे पास पहले से बेहतर रिजर्व टीम है। हमारे पास अंडर-18, अंडर-15, अंडर-13 और इससे भी अधिक टीम है। अगले तीन साल तक के लिए हर चीज के लिए हमारे पास एक योजना है और हम राज्य में जमीनी स्तर पर इस खेल का विकास करेंगे।
कई लोगों ने इंडियन सुपर लीग (आईपीएल) की शुरुआत के बाद से आई-लीग की स्थिति पर सवाल उठाया है, लेकिन चट्टू इससे सहमत नहीं है कि आई-लीग दूसरी डिविजन की लीग बन गई है। उनका कहना है कि खिलाडियों में प्ररेणा की कमी नहीं होगी। उन्होंने कहा, इसे (आई-लीग) दूसरी डिविजन की लीग घोषित नहीं किया गया है। हर कोई ऐसा कह रहा है, लेकिन यह अभी भी पहले डिवीजन में है, आईएसएल के बराबर है। दो साल के लिए कोई प्रमोशन नहीं हो सकता है, लेकिन भविष्य के बारे में कौन जानता है।
चट्टू ने कहा कि रियल कश्मीर टीम प्रबंधन खिलाड़ियों को कड़ी मेहनत करने और अच्छा प्रदर्शन करने के लिए कहेगा। उन्होंने कहा, सभी प्रतिस्पर्धी क्लबों के लिए अब बेहतर मौके हैं क्योंकि मोहन बागान और ईस्ट बंगाल दोनों आईएसएल में चले गए हैं, हालांकि यह आई-लीग के लिए बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। लेकिन साथ ही आई-लीग में अन्य क्लबों के लिए लाइमलाइट में आने एक बड़ा अवसर है। उनके लिए अच्छा है, लेकिन आप देखते हैं कि इन क्लबों के आसपास एक आभा है और हम इन क्लबों के साथ खेलने के लिए तत्पर हैं। लेकिन यह दो साल की बात है और इसके बाद आईएसएल में भी प्रमोशन होगा।
चट्टू ने कहा के आई-लीग से आईएसएल में जगह बनाने के लिए कई साल लग सकते हैं। कोविड-19 महामारी के कारण इस साल सबकुछ अनिश्चित है और चीजें सामान्य होने में समय लगेगा। उन्होंने कहा, यहां तक कि कोविड-19 के बढ़ते मामलों के कारण हम भी नहीं जानते हैं कि लीग कब शुरू हो रही है। आई-लीग को लेकर कोलकाता में सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं, लेकिन हमें प्री सेशन अभ्यास की जरूरत है।
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